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Friday, January 9, 2015

बुआ की चूत की सफ़ाई

ताऊ जी के जाते ही बुआ ने कमाड बंध किया और मैंने उसे पीछे से पकड लिया. बुआ के गरम गांड के गोदाम पर मेरा लंड छू गया और मेरे बदन में जैसे की करंट दौड़ गया. मैंने हाथ आगे कर के बुआ के बूब्स दबोचे और सिसकी लेती हुई बुआ मेरी बाहों में सिमट गई. मैंने अपने दोनों हाथ से चुंचियां मसली और बुआ सिहर उठी.

फिर वो बोली, पिछली बार से तो बड़ा लग रहा हैं तेरा!

मैंने हंस के कहा, बड़ा तो होगा ही तेल जो पिलाता हूँ उसे.

बुआ की ब्लाउज के ऊपर के बटन को खोल के मैंने अपना एक हाथ अन्दर डाला. इस हॉट आंटी की चुंचियां काफी टाईट थी जैसे किसी जवान छोरी के बूब्स. मैंने दोनों बूब्स मसले और उतने में बुआ का हाथ मेरे लोडे पर आ गया. वो मेरा लोडा दबाने लगी, मुझे मीठा मीठा दर्द हो रहा था.

बुआ आज चुसेंगी नहीं!

बुआ ने कंधे पर एक मारा और बोली, चाय नहीं पिएगा पहले?

नहीं आज तो मैं आप का दूध पिऊंगा पहले फिर सब कुछ.

पूरी कहानी पढ़ने के लिये क्लीक कीजिए

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